मकान खरीदने के लिए नहीं हैं डाउन पेमेंट, ये तरीका होगा बेस्ट

मकान खरीदने के लिए नहीं हैं डाउन पेमेंट

मकान खरीदने के लिए नहीं हैं डाउन पेमेंट : मकान खरीदने के इच्छुक कई ग्राहकों के पास ईएमआई चुकाने की क्षमता तो होती है, लेकिन डाउन पेमेंट के लिए एकमुश्त राशि नहीं होने से मामला अटक जाता है। ऐसे में अगर आप भी होम लोन का प्‍लान कर रहे हैं, तो ये खबर आपके लिए ही है। हम आपको होम लोन से जुड़ी कुछ ऐसी बातें बताने जा रहे हैं, जो आपके लिए बेहद लाभदायक साबित हो सकती हैं। आइये जानते है इसके बारे में पूरी जानकारी।
अपने सपने का घर बनाना हर इंसान का सपना होता है। इसे पूरा करने के लिए लोग जीवनभर मेहनत करते हैं। मकान खरीदना जीवन का एक अहम फाइनेंशियल फैसला (important financial decision) होता है। इसमें लोगों की काफी जमा-पूंजी लग जाती है। आज के समय में बैंकों की होम लोन स्‍कीम्‍स (Home Loan Schemes) घर के सपने को पूरा करने में काफी बड़ा रोल है। होम लोन के जरिए आप आसानी से अपना मकान खरीद सकते हैं।

5% से 20% डाउन पेमेंट का करना होता है इंतजाम

आपको बता दें कि कंपनियां घर खरीदने की पूरी लागत का 100% लोन नहीं देती हैं। आम तौर पर, आपको सेल अग्रीमेंट वैल्यू का 80% तक लोन मिल सकता है। डाउन पेमेंट के रूप में बाकी पैसों का इंतजाम आपको खुद करना पड़ता है, जिससे लोन कंपनियों को प्रॉपर्टी की खरीदारी (property purchase) में अपने हित को सुनिश्चित करने में मदद मिलती है।

आम तौर पर प्रॉपर्टी की कुल वैल्यू (Total value of property) का लगभग 5% से 20% डाउन पेमेंट करना पड़ता है और कम समय में इतनी बड़ी रकम का इंतजाम करना कई लोगों के लिए थोड़ा मुश्किल हो सकता है। अगर आप एक मकान खरीदने की सोच रहे हैं तो आपको डाउन पेमेंट और अन्य खर्च के लिए पैसों का इंतजाम करने के लिए कुछ बातों पर ध्यान देना चाहिए।

शॉर्ट टर्म का निवेश आ सकता है काम

घर लेने के लिए डाउनपेमेंट का इंतजाम (Arrangement of down payment) करने में कई लोगों को दिक्कत पेश आती है। लेकिन अगर आप महंगी प्रापर्टी (property price) लेने जा रहे हैं, तो डाउन पेमेंट भी ज्यादा हो जाता है। इसके लिए शॉर्ट टर्म का निवेश (short term investment) काम आता है। इसके अलावा इक्विटी जैसे इनवेस्टमेंट भी काम आते हैं, क्योंकि इनसे कभी भी पैसा निकाला जा सकता है। अच्छा होगा कि आप पहले ही अपने खर्च पर अंकुश लगाकर कुछ पैसे बचाकर रखें। गैर जरूरी खर्च पर कंट्रोल रखें और रेगुलर बचत करें।

अनसिक्यॉर्ड लोन लेने की कोशिश करें (unsecured loan)

अगर आपका बजट इजाजत दे, तो आप एक अनसिक्यॉर्ड लोन लेने (unsecured loan process) के बारे में भी सोच सकते हैं। एक अनसिक्यॉर्ड लोन में किसी कोलैट्रल या जमानत की जरूरत नहीं पड़ती है, लेकिन इसका इंट्रेस्ट रेट थोड़ा अधिक होता है। अगर आपका क्रेडिट स्कोर अच्छा है तो आप एक ऐसा पर्सनल लोन ले सकते हैं, जो आसानी से मिल सकता हो। लेकिन आपको अपनी रीपेमेंट क्षमता का मूल्यांकन करने के बाद ही कोई अनसिक्यॉर्ड लोन लेना चाहिए।

इंश्योरंस और पीएफ पर ले सकते हैं लोन (loan against insurance and PF)

आप अपनी लाइफ इंश्योरेंस पॉलिसी या प्राविडेंट फंड (PF) पर लोन भी ले सकते हैं। इस पर बहुत आसानी से लोन मिल जाता है और ब्याज भी बहुत कम देना पड़ता है। सबसे अच्छी बात ये है कि इस चुकाने की डेडलाइन नहीं होती है, आप अपनी सुविधा के हिसाब से इसे चुका सकते हैं। इससे डाउन पेमेंट का बोझ कुछ कम हो जाएगा।

गोल्ड लोन से भी इंतजाम कर सकते हैं (Downpayment through gold loan)

गोल्ड लोन के जरिए भी डाउनपेमेंट के कुछ हिस्से का इंतजाम किया जा सकता है। फ्रेंड्स और फैमिली मेंबर्स की मदद भी आप ले सकते हैं। एक ऑप्शन पर्सनल लोन (personal loan Process) लेने का भी है, हालांकि यह बहुत महंगा पड़ता है। पर्सनल लोन की ब्याज दर बहुत अधिक होती है।

आपको बता दें कि अधिक से अधिक डाउन पेमेंट करने के कई फायदे (Benefits of making down payment) हैं। इससे आप बैंक के साथ ब्याज दरों को लेकर मोलतोल कर सकते हैं। डाउन पेमेंट जितना अधिक होगा, लोन की राशि उतनी कम होगी। ऐसे में आपको कम राशि पर ब्याज देना पड़ेगा।

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