कोलेस्ट्रॉल : बॉडी में एलडीएल कोलेस्ट्रॉल का लेवल जानने के लिए टेस्ट करवाना सबसे अच्छा तरीका होता है. लेकिन कई बार इसका अंदाजा शरीर में होने वाले कुछ बदलाव को देखकर भी लगाया जा सकता है. बता दें, एलडीएल को बैड कोलेस्ट्रॉल भी कहा जाता है. इसके पीछे की वजह है इसके कारण बढ़ने वाली जानलेवा बीमारियों जैसे- हार्ट अटैक, स्ट्रोक का खतरा.
उम्र के साथ एलडीएल कोलेस्ट्रॉल बढ़ने की संभावना बढ़ने लगती है. 65 की उम्र के बाद पुरुषों और महिलाओं में सबसे ज्यादा हाई कोलेस्ट्रॉल की शिकायत होती है. हालांकि जेनेटिक और एनवायरमेंट फैक्टर के कारण किसी भी उम्र में व्यक्ति हाई कोलेस्ट्रॉल का मरीज बन सकता है. ऐसे में अपने बॉडी में होने वाले इस जमाव का पता लगाने के लिए कुछ संकेतों पर नजर रखना जरूरी होता है.
कितना होना चाहिए बॉडी में एलडीएल कोलेस्ट्रॉल
हॉपकिंस मेडिसिन के अनुसार, एक स्वस्थ व्यस्क व्यक्ति की बॉडी में 100 से 129 mg/dL एलडीएल कोलेस्ट्रॉल होना चाहिए. वहीं, यदि यह मात्रा 160 से 189 mg/dL तक पहुंच जाए तो यह एक गंभीर स्थिति मानी जाती है.
पैरों में दिखने वाले हाई कोलेस्ट्रॉल के संकेत
हालांकि पैर दिल से काफी दूरी पर स्थित होता है. लेकिन बॉडी में कोलेस्ट्रॉल का लेवल बढ़ने पर पैरों की खून की धमनियां भी पतली होने लगती है. इसे पी. ए. डी. पेरिफेरल आर्टरी डिजीज भी कहा जाता है. जिससे पैरों में सुन्नता और झुनझुनी महसूस होती है. इसके अलावा पैर में दर्द और फिजिकल एक्टिविटी के दौरान मांसपेशियों में ऐंठन का अनुभव होता है.
चेहरे और हाथों में भी दिखते हैं कोलेस्ट्रॉल के लक्षण
पलकों पर पीला लंप बनना
आंख के अंदर नीला, सफेद या ग्रे सर्कल बनना
उभरी हुई आंखें
कलाई में सूजन
हाथों पर छोटे-छोटे उभार
हाथ में दर्द
डॉक्टर से तुरंत करें संपर्क
यदि आपको ऊपर बताए गए संकेत अपनी बॉडी में नजर आ रहे हैं तो बिना देरी अपने डॉक्टर से जांच करवाएं. हेल्थ एक्सपर्ट हाई पुष्टि के लिए एक ब्लड टेस्ट कर सकता है. ध्यान रखें सही समय पर मेडिकल हेल्प हाई कोलेस्ट्रॉल के दुष्प्रभावों को रोकने में बहुत मददगार होता है.