अगर बच्चें को पढ़ाई में मन नहीं लगता या वे खेल कूद में अच्छे नहीं हैं तो बेहतर होगा कि आप उन्हें उस चीज में जाने के लिए मोटिवेट करें या हौसला बढ़ाएं जिसमें उन्हें कुछ करने का पैशन हो. यानी, माता पिता को बच्चों के पैशन या उनके शौकिया चीजों में आगे बढ़ने का मौका देना चाहिए. इससे वे बेहतर तरीके से नई चीजों को सीखने में दिलचस्पी दिखाते हैं.Image: Canva
आमतौर पर जब बात क्रिएटिव होने की आती है तो हम बच्चों को पेंसिल और पेपर लेकर बिठा देते हैं ड्रॉइंग करने के लिए, लेकिन आपको बता दें कि अगर आप उन्हें अपने हिसाब से काम करने की आजादी दें तो यह उनकी सोच और आत्मविश्वास को बढ़ाने का काम करता है. इस तरह वे हर चीज नए तरीके से करने में सक्षम होते हैं. Image: Canva
बच्चों को अपने प्रॉब्लम खुद सॉल्व करने का मौका दें. यह आगे चलकर उन्हें हर परेशानियों का हल निकालने में मदद कर सकता है. फिर चाहे वह गणित का कोई फॉर्मूला हो या खिलौने को तोड़कर जोड़ना. आप उसे अधिक रोकटोक ना करें. इस तरह वे हर तरह के चैलेंज को स्वीकारने और उसे पूरा करने में परेशान नहीं होते हैं. Image: Canva
स्क्रीन टाइम कम करें, जब बच्चे स्क्रीन के अलावा अन्य काम में खुद को बिजी कर लेते हैं तो उनका कॉग्नेटिव ग्रोथ(cognitive growth) बेहतर होता है. आप बच्चों को बुक रीडिंग, आर्ट, क्राफ्ट, जू जाना, म्यूजियम, गेम्स आदि में हिस्सा लेने के लिए मोटिवेट करें. Image: Canva
बच्चे जब खुश रहते हैं और उन्हें यह पता होता है कि उन्हें प्यार करने वाले कई हैं तो उनका हौसला हमेशा बढ़ा रहता है और उन्हें हार का डर नहीं सताता. वे हर एक्टिविटी में बढ़चढ़कर हिस्सा लेते हैं. Image: Canva
अपने बच्चों को हार्ड वर्क करने और प्रैक्टिस करने का महत्व बताएं, अगर आप उन्हें टैलेंटेड होने की बात कहेंगे तो उन्हें अपने कड़े मेहनत पर से भरोसा उठ सकता है. इसलिए मेहनत के महत्व को बताएं और उनका हौसला बढ़ाएं Image: Canva
अगर आप चाहते हैं कि आपका बच्चा हर चीज में हिस्सा ले या ऑल राउंडर बनें तो सबसे पहले आपको उनका रोल मॉडल बनना पड़ेगा. इसलिए आप भी डिसिप्लीन लाइफ जीयें और उनके लिए उदाहरण पेश करें. Image: Canva